
कमला दत्त : समग्र कहानियां नाम का संग्रह मेरे सामने है जिसमें 33 कहानियां हैं। किताब का सम्पादन छबील कुमार मेहरे और अभिषेक ऋषि ने किया है। इस किताब को छापा है दिल्ली के प्रज्ञा प्रकाशन ने और 426 पृष्ठों की इस किताब की क़ीमत रुपयों में 900 और डॉलरों में 15 है।
आज यानी 12 अप्रेल 2025 की शाम कस्तूरी नाम की संस्था ने दिल्ली के साहित्य अकादमी में पुस्तक की लेखिका के सम्मान में एक आयोजन किया जिसमें लगभग 50 लोग मौजूद थे।
कमला दत्त अविभाजित भारत के लाहौर में जन्मीं और चंडीगढ़ से पढ़ाई करते हुए पोस्ट डॉक्टोरल रिसर्च के लिए अमरीका इस तरह गयीं कि बाद में वहीं बस गयीं।
लेखन के अलावा नाटकों और कविताओं में सामान रूप से सक्रिय कमला दत्त इन दिनों भारत आई हुई हैं। अब जो आप सुनेंगे उसमें पहले खुद कमलाजी की आवाज़ में उनकी लेखकीय यात्रा के स्केची ब्योरे हैं और फिर कार्यक्रम की अध्यक्षत लेखिका प्रत्याक्षा का सारगर्भित वक्तव्य है जो कमला दत्त के रचनाकर्म के केंद्रीय तत्त्वों पर प्रकाश डालता है। अंत में आयोजकीय वक्तव्य है जिसमें हनुमानजी के प्राकट्य दिवस और कार्यक्रम की शुभ सफलता का संयोग बताया गया है। यह भी बताया गया है कि जिस प्रकार जामवंत जी ने हनुमान जी को उनकी शक्तियों का भान कराया था उसी प्रकार कमला जी को भी उनकी शक्तियों का भान कराने का क्षण है।
तो बहनो भाइयो पहले रिसर्च साइंटिस्ट, प्रोफ़ेसर और राइटर कमला दत्त -

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